चैत्र अमावस्या पर बलिहारपुर में काली पूजा का आयोजन
20 वर्ष पूर्व समिति गठित कर पूजा अर्चना की शुरुआत आसपास के लोगों के द्वारा किया गया जो कि आज भी जारी है।

पाकुड़। शहर के बलिहारपुर में सोमवार को चैत्र अमावस्या के अवसर पर चैती ग्राम काली पूजा का आयोजन पूरे उल्लास के साथ किया गया। काली पूजा के साथ-साथ मेला का भी आयोजन किया गया। मौके पर बड़ी संख्या में लोगों की उपस्थिति देखी गई। खुले मैदान में वटवृक्ष के नीचे मां काली की भव्य प्रतिमा स्थापित कर पुरोहित के द्वारा पूरे विधि विधान के साथ पूजा अर्चना किया गया। मौके पर आसपास के क्षेत्र के लोग अपनी उपस्थिति दर्ज करवाते हुए पूजा अर्चना में हिस्सा लिया इसके साथ-साथ लोगों के द्वारा मां काली को प्रसाद अर्पित किया गया।
काली पूजा को लेकर लोगों में खास उल्लास देखा गया पुरुष, महिलाएं,बच्चे नए-नए परिधान पहनकर मां काली के दर्शन को पहुंचे और मां का दर्शन पूजन किया। यहां बता दे की उक्त स्थान में सैकड़ो वर्षों से मां काली की पूजा होते आया है वही लगभग 20 वर्ष पूर्व समिति गठित कर पूजा अर्चना की शुरुआत आसपास के लोगों के द्वारा किया गया जो कि आज भी जारी है।
श्री श्री रक्षा काली पूजा समिति के तत्वाधान में पूजा अर्चना 2004 में प्रारंभ किया गया था वहीं मौके पर मौजूद रवि भास्कर, अंजन श्रीवास्तव समेत अन्य सदस्यों ने बताया कि यहां सैकड़ो वर्षों से चैत्र अमावस्या को लेकर मां काली की प्रतिमा स्थापित कर पूजा अर्चना किया जाता रहा है वर्ष 2004 में आसपास के लोगों के द्वारा एक कमेटी का गठन किया गया और अब कमेटी के देखरेख में पूजा और मेला का आयोजन किया जाता है ।मेला में स्थानीय व बाहर के दुकानदारों के द्वारा विभिन्न प्रकार की दुकान लगाई जाती है और इन दुकानों में लोग जमकर खरीदारी भी करते हैं। वहीं यहां पर बता दे की ऐसी मान्यता भी है की मां काली से मांगी गई मन्नत जल्द ही पूरी हो जाती है और मन्नत पूरी होने के बाद आने वाले वर्षों में आयोजित पूजा में पहुंचकर लोग मनोकामना पूर्ण होने को लेकर प्रसाद अर्पित करते हैं। वही मेला में लोगों की अच्छी खासी भीड़ देखी गई। लोग मेल कर जमकर आनंद उठाते देखे गए।