स्वर्णरेखा बांध चांडिल में 16 जून से चल रहे 84 मौजा 116 गांव के अनिश्चितकालीन धरना का तीस दिन हुआ पूरा
विस्थापित अधिकार मंच के संस्थापक राकेश रंजन ने कहा कि लाल रंग हमारा एकता का परिचय है यह लड़ाई जाति धर्म संप्रदाय राजनीति से ऊपर उठकर अधिकार से वंचित की लड़ाई है सब एक ही सूत्र जाति धर्म संप्रदाय में बंधे हैं, वह है विस्थापित हम सबका शरीर में एक ही रंग बह रहा है इसलिए इस लाल रंग को जन क्रांति का प्रतीक मानकर विस्थापितों को देकर सम्मानित किया गया।

Saraikella : अखिल झारखंड विस्थापित अधिकार मंच के बैनर तले अधीक्षण अभियंता पुराना कार्यालय स्वर्णरेखा बांध चांडिल में 16 जून से चल रहे हैं 84 मौजा 116 गांव के अनिश्चितकालीन धरना का तीस दिन पूरा हुआ इस उपलक्ष में विस्थापित ग्रामीण क्षेत्र में जन जागरण करने वाले महिला एवं पुरुषों को लाल रंग का अंग वस्त्र देकर सम्मानित किया गया विस्थापित अधिकार मंच के संस्थापक राकेश रंजन ने कहा कि लाल रंग हमारा एकता का परिचय है यह लड़ाई जाति धर्म संप्रदाय राजनीति से ऊपर उठकर अधिकार से वंचित की लड़ाई है सब एक ही सूत्र जाति धर्म संप्रदाय में बंधे हैं, वह है विस्थापित हम सबका शरीर में एक ही रंग बह रहा है इसलिए इस लाल रंग को जन क्रांति का प्रतीक मानकर विस्थापितों को देकर सम्मानित किया गया।
मंच के केंद्र प्रवक्ता अनूप महतो ने कहा हम चांडिल बांध विस्थापितों के आंदोलन को और धार देने के लिए 84 मौजा व 116 गांव में पॉकेट मीटिंग के माध्यम से जन जागरण का कार्यक्रम को चलाया जाएगा एवं प्रत्येक गांव में ग्राम कमेटी का गठन किया जाएगा ।
मुख्य रूप से उपस्थित राकेश रंजन महतो ,अनूप कुमार महतो, अजय महतो, मोतीलाल मुर्मू, तपन महतो, सबवेसर महतो, सीताराम महतो, राजीव महतो, चक्रधर महतो, सुनील महतो आदि विस्थापित उपस्थित थे।