सरायकेला-खरसावां जिले में धान रोपनी ने पकड़ी रफ्तार, अब तक 44 फीसदी क्षेत्र में हो चुका है रोपाई कार्य
मोटे अनाज की खेती को बढ़ावा, मिलेट मिशन योजना के तहत प्रति एकड़ किसानों को मिलेंगे 3000 रुपये

सरायकेला-खरसावां : जिले में बीते दिनों हुई अच्छी बारिश के बाद धान की रोपनी कार्य ने जोर पकड़ लिया है। जिला कृषि पदाधिकारी माधुरी टोप्पो ने जानकारी दी है कि सरायकेला-खरसावां जिले में इस बार 1 लाख हेक्टेयर भूमि पर धान की खेती का लक्ष्य रखा गया है। बुधवार तक के आंकड़ों के अनुसार कुल लक्षित क्षेत्रफल का 44 प्रतिशत हिस्सा रोपनी से आच्छादित हो चुका है। धान रोपनी के कार्य को युद्धस्तर पर पूरा करने की कोशिश की जा रही है। इस दौरान हाइब्रिड, अधिक उपज वाली और उन्नत किस्म की धान की बुवाई की जा रही है। कृषि विभाग के अनुसार किसानों में इस बार खेती को लेकर जागरूकता बढ़ी है। वे विभाग से जुड़कर नई तकनीकों को सीख रहे हैं। पर्याप्त वर्षा और कृषि विभाग के मार्गदर्शन से किसानों में रोपनी को लेकर उत्साह देखा जा रहा है।
मिलेट मिशन योजना बनी किसानों के लिए सहारा
जिला कृषि पदाधिकारी माधुरी टोप्पो ने यह भी बताया कि झारखंड राज्य मिलेट मिशन योजना के अंतर्गत मोटे अनाज जैसे मड़ुआ (रागी), जौ और बाजरा की खेती को बढ़ावा देने के लिए प्रति एकड़ 3000 रुपये की प्रोत्साहन राशि किसानों को दी जाएगी। अधिकतम 5 एकड़ तक की खेती पर यह लाभ किसानों को मिलेगा। इस योजना का लाभ लेने के लिए किसानों को संबंधित प्रखंड कार्यालय में जाकर ऑनलाइन पंजीकरण कराना होगा। जिला कृषि विभाग मोटे अनाज की खेती को बढ़ावा देने के लिए 800 हेक्टेयर में मड़ुआ और 40 हेक्टेयर में बाजरा उत्पादन का लक्ष्य लेकर काम कर रहा है। कृषि पदाधिकारी ने बताया कि यह योजना न केवल किसानों की आय में वृद्धि करेगी बल्कि पोषण सुरक्षा और सतत कृषि विकास की दिशा में भी एक मजबूत कदम है।